एक आदमी एक पालतू पशु-पक्षियों की दुकान में जाता है, और एक तोते को एक डंडे पर बैठा हुआ देखा, उसके पाँव नहीं थे। वह आदमी ऊँची आवाज़ में कहता है, “मैं आश्चर्यचकित हूँ, इस तोते को क्या हुआ?”
तोते ने उत्तर दिया, “मैं ऐसा ही पैदा हुआ था। मैं एक अधूरा तोता हूँ।”
“वाह!” आदमी विस्मित होता है। “तुम मेरी बात समझ गये और उत्तर भी दिया!”
“मैं प्रत्येक शब्द समझ गया,” तोता बोला। “मैं काफी तीक्ष्ण बुद्धि का और पढ़ा-लिखा हूँ।”
“सचमुच?”, आदमी ने पूछा, “तो फिर ये बताओ, कि तुम इस लकङी पर बिना पाँव के कैसे बैठ पाते हो?”
“अच्छा,” तोते ने कहा, “यह काफी लज्जाजनक बात है चूँकि तुमने पूछा है, तो बता रहा हूँ, मैं अपने लंड को इसके गिर्द लपेट कर एक हुक की तरह बना लेता हूँ। तुम मेरे परों के कारण इसे नहीं देख पाते होगे।”
“वाह” आदमी ने कहा, “तुम तो सचमुच अच्छी तरह हिन्दी समझ और बोल पाते हो, है ना?”
“वास्तव में, मैं हिन्दी और अंग्रेज़ी दोनों बोल सकता हूँ, और किसी भी विषय पर बात कर सकता हूँ: राजनीति, धर्म, खेल, विज्ञान, दर्शन। विशेषकर मैं पक्षी विज्ञान का विशेषज्ञ हूँ। तुम्हें मुझे खरीदना चाहिए। मैं अच्छा साबित होऊँगा।”
आदमी ने उसका मूल्य 10000 रुपये देखा। “क्षमा करो, पर मेरी इतनी खर्च करने की हैसियत नहीं है।”
“स्स्स्स्स्स्स्सस” तोते ने कहा, “मैं बिना टाँगों का हूँ, तो सच्चाई यह है कि कोई भी मुझे खरीदना नहीं चाहता। तुम शायद मुझे 100 रुपये में पा सकते हो, दुकानदार को एक बार कहो तो सही!”
आदमी ने 100 रुपये में सौदा पक्का किया और तोते को खरीद लिया।
कई सप्ताह बीत चुके हैं। तोता कमाल का है। उसका सेन्स ऑफ ह्यूमर कमाल का है, वह रोचक है, वह एक अच्छा दोस्त है, वह सबकुछ समझता है, वह हमदर्दी दिखाता है, वह दिव्य है।
आदमी अत्यंत हर्षित है। एक दिन जब आदमी काम से वापस घर लौटा तो तोते ने कहा “स्स्स्स्स्स्स्सस” और उसकी तरफ एक डैने से इशारा करके कहता है। “मुझे नहीं पता तुम्हें यह बताना चाहिए या नहीं, पर यह तुम्हारी पत्नी और डाकिये के बारे में है।”
“तुम किस बारे में बात कर रहे हो।” आदमी पूछता है। “जब पोस्टमैन ने जब आज डाक दी, तो तुम्हारी पत्नी ने उसका स्वागत महीन काली नाईटी में किया और उसे जबर्दस्त तरीके से किस्स किया।”
“क्या?!” आदमी ने उत्सुकतावश पूछा। “फिर क्या हुआ?”
“फिर डाकिया भीतर आया और उसकी नाईटी उपर उठायी और हर जगह हाथ लगाया और चूमा” तोते ने बताया।
“हे भगवान!” वह विस्मित हुआ। “फिर क्या?”
“फिर उसने उसकी नाईटी उठाकर घुटनों के बल बैठ गया और हर जगह चाटने लगा, उसकी चूचियों से शुरू कर धीरे-धीरे नीचे आने लगा…”
“अच्छा???” आदमी ने बेहद गुस्से में पूछा, “आगे क्या हुआ?”
“मैं आगे कुछ नहीं देख सका! मेरा लंड खङा हो गया, हुक सीधा हो गया और मैं यहाँ से नीचे गिर पङा!”
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