Thursday, April 24, 2008

खुली छत पर भाभी की -मस्त जवानी

hindi sexi स्टोरी

मेरे प्यारे दोस्तो मेरी भाभी ने मुझसे कहा था मेडिकल की दुकान से एक कंडोम ले आना लेकिन मैं पुरा पाकिट ले कर आया था हालांकि मुझे नही मालूम था की भाभी ने ये क्यों मंगवाया है. पहले मैं बता दूँ की मैं आपका दोस्त संजय, मेरे भाई की शादी को सात साल हो गए थे, उनका काम ज्यादातर टूर पर ही रहता था घर मे मेरी बीवी मैं मेरे पापा और मेरे दो बच्चे और मेरी भाभी ही रहते थे, भाभी बहुत ही सेक्सी है और उनका रंग भी गोरा है उनकी चुन्चियाँ एकदम गोल और बाहर निकली हुयी है, कमर पतली है और ओके चूताद चलते वक्त किसी भी मर्द का लंड खड़ा कर देते है. भाभी की चुदायी बहुत कम हुयी थी. और मेरे साथ वो सबकी नज़र बचा कर बहुत मजाक करती थी, मेरी बीवी के साथ उसने मेरे बरे मे सब सुन लिया था, आज सुबह भाभी जब मुझे जगाने आई तो मेरी लुंगी खुल चुकी थी और मेरा पूरा कड़क लंड बाहर आ कर डोल रहा था, रात मे ही मैंने मेरी बीवी की बुरी तरह ३ बार चुदाई की थी मेरा लंड बहुत मोटा है और लम्बाई भी करीब आठ इंच की है, सुपाडा बहुत बड़ा और लाल है, चुदाई के वक्त मेरी बीवी बहुत आवाज़ निकालती है और ये आवाजें भाभी भी सुनती है जैसे ही मैं उठा मैंने देखा भाभी मेरे लंड को ही देख रही है और अपनी चूत पर हाथ फेर रही है, वैसे मैं भाभी की ही उमर का हूँ मैं भाभी से कई बार छेड़छाड़ करता हूँ कयी बार मैंने उनकी चुन्चियाँ भी दबायी है , जब मेरी बीवी सामने नही होती तो मैं भाभी को दबा लेता हूँ हम दोनों को चुदाई का मौका नही मिल रहा था, इस बार भाभी काफी दिनों से बेचैन थी और सुबह उन्होंने मेरा फेन फनाता लंड देख लिया था,मैंने जल्दी से अपनी लूंगी ठीक की , भाभी मुस्कुरायी मैंने उन्हें अपने ऊपर खीचा और कहा भाभी ये कब तक तुम्हारे लिए तड़पेगा, भाभी ने कहा आज ही कुछ करेंगे मैं भी बहुत बेचैन हूँ, लेकिन तुम्हारा तो बहुत लंबा और मोटा है, और अभी मैं गर्भवती हो सकती हूँ , मैंने कहा ठीक है कंडोम लगा लेंगे, भाभी ने कहा तो फ़िर आज एक कोंदोम ले आना मैंने जब उनके हाथ मी पूरा पाकिट दिया तो भाभी बोली मैंने तो एक ही मगाया था तुम पूरा पाकेट क्यों ले आए मैं ने बेशर्मी से कहा आज तुम को जमकर चोदुंगा, भाभी ने मेरी तरफ़ देखा फ़िर कुछ सोचा और फ़िर जल्दी से कहा "नही सिर्फ़ एक बार क्योंकि की हमारे पास इतना टाइम नही है .तो मैंने कहा की हम चुदाई कब करेंगे तो वह बोली की जब तुम्हारी बीवी किचेन मे खाना बनाएगी तब हम दोनों छत पर शाम को चुदाई करेंगे . मैं ने कहा ठीक है . और मैं शाम होने का बेसब्री से इंतजार करने लगा . जब मेरी बीवी खाना बनाने रसोई मे चली गयी और सभी बचे और मेरे पापा अगले रूम मे tv देख ने लगे तो मैंने भाभी से कहा की अब चलें तो भाभी बोली की तुम चलो मैं आती हूँ .रात के 9:00 बजे का टाइम था मैं जल्दी से छत पर पहुँच गया और भाभी के आने का इंतज़ार करने लगा .जब तक भाभी छत पेर आए तब तक मैं ने बिस्तर बिछा लिए थे और लेट गया .चूँकि हमारा माकन एक मंजिला है और मेरे अगल बगल के दोनों मकान दो और तीन मंजिला है इसलिए हमारी छत पर रात के टाइम एक दम अँधेरा रहता है फ़िर थोडी देर बाद मेरी रानी बड़ी भाभी मेरे लंड का खाना यानि अपनी गुलाबी चूत हाथों मे दबाकर मेरे पास आए .और मुस्कुराती हुई मेरे बगल मे लेट गयी मैं ने तुरंत ही भाभी को अपनी बाँहों मे भर लिया और हम दोनों एक दुसरे से ऐसे चिपक गए की अभी एक दुसरे मे समां जायेंगे और मैं भी भाभी को जोर जोर से चूमने लगा मैंने एक हाथ भाभी की गर्दन मे डाला और एक हाथ भाभी के ब्लाउज़ पर रख कर जोर से भाभी के उभरे हुए चुंची को दबाने लगा मैंने भाभी के होंठो को ज़ोरदार चूसना शुरू किया करीब १० १५ मिनिट किस करने के बाद मैं और भाभी दोनों ही गरम हो गए थे मैंने भाभी की साडी को ऊपर खिसकाना शुरू किया और चुन्चियों को ब्लाउज़ के ऊपर से ही दबाने लगा ब्लाउज़ इसलिए नही खोला ताकि किसी के आने पर हम जल्दी से अलग हो सके और कपड़े भी ठीक कर सके. मैंने उनकी साडी और पेटीकोट को कमर तक ऊपर उठा दिया . मैं पहले अंडरवियर मे था फ़िर मैंने अपनी एक टांग भाभी की नंगी टांग पर रखी और रगड़ने लगा उनकी चूत से पानी निकल रहा था. मैं उनकी चूत को सहलाने लगा, मेरा लंड अब एकदम कड़क हो चुका था. मैं पैंटी के ऊपर से चूत को सहला रहा था फ़िर मैंने भाभी से कहा अब तो अपनी गुझिया (चूत) के दर्शन करवा दो मैं तुम्हारी गुझिया का रस पीने के लिए तरस रहा हूँ. और मैंने उनकी पैंटी निचे खींच दी.भाभी अपनी टांग फैला के लेट गई और कहा मेरे देवर रजा लो पीयो अपनी भाभी की गुझिया का पानी मैंने कहा भाभी इसके लिए तो मैं पिछले सात साल से तरसा हूँ. आज मुझे मौका दिया तुमने. और मैं उनकी चूत पर झुक गया.. वाह क्या चूत थी.. फूली हुयी.. उभरी.. एक दम कोमल चूत के दोनों होंठ चिपके हुए थे. ऐसी चूत तो मेरी बीवी की भी नही है अब. एकदम कुंवारी जैसी.उनकी चूत बहुत दिनों से नही चूड़ी थी, भैय्या भी जब आते तो शायद एक बार ही चोदते थे.फ़िर मैंने अपना हाथ भाभी की चूत पर फेरा चूत पर एक भी बाल नही था भाभी ने आज ही बाल कटे थे. मैंने उनकी गीली चूत मे एक ऊँगली से रगड़ने लगा. दाने पर हाथ लगते ही भाभी जोश मे आ गई और अपने घुटने मोड़ कर पैरों को फैला दिया जिससे चूत एकदम खिली खिली नज़र आने लगी.चूत ने पानी छोड़ना शुरू कर दिया था मैंने अपनी एक ऊँगली उस कलि के अन्दर डाल दी.. ओह्ह क्या कसी हुई चूत थी.. मेरी ऊँगली भी मुश्किल से अन्दर जा रही थी. भाभी एक दम सी सी सी. करने लगी. उनके मुंह से आह..उफ़.. माँ. सी..ई..ई..ई.ई..की आवाज़ आने लगी.. उन्होंने अपनी चूत ऊपर उठाई जिससे अब मेरी ऊँगली पुरी अन्दर जाने लगी थी.चूत एकदम गरम थी..हाई क्या मखमली एहसास था.मैंने अब दूसरी ऊँगली भी अन्दर डाल दी, भाभी तड़प उठी..मैं दोनों ऊँगली को अन्दर बाहर करने लगा.. भाभी की चूत से नल के धार जैसा पानी निकलने लगा था.. और मुंह से आह सी..सी...सी..स्.स् स्.स्.स्..स्. की आवाज़ निकलने लगी थी.. उनकी चूत का गरम लिस लिसा पानी मेरे हाथों मे बहाने लगा था.मैंने कहा भाभी तुम्हारी चूत का पानी मुझे पीना है.. भाभी ने कहा पी लो मेरे राजा.. तुम्हारा रसगुल्ला मेरे पास दो कह कर उन्होंने मेरी अंडरवियर खोल दी और लंड को बाहर निकाल कर सहलाने लगी.मैंने अपना मुंह भाभी के चूत पर रखा और चूत के होंठ खोल कर जीभ अन्दर डाल दी.भाभी की फडफड़ाती चूत मे जीभ घुमाने लगा.. भाभी ने मेरा सिर पकड़ कर चूत पर दबाया और अपनी चूत को मेरे मुंह के पास चिपकाने लगी.और कहने लगी चखो मेरे राजा मेरा पानी चाट लो.. भाभी एकदम पागल हुई जा रही थी...उनकी सिसकारी बढ़ गई थी..वो मजे के साथ अपनी चूत चुसवा रही थी.उनकी चूत का पानी नमकीन था मैंने भाभी से कहा भाभी लगता है तुमने गुझिया मे नमक ज्यादा डाल दिया है, इसका पानी मीठे की जगह नमकीन हो गया है., भाभी बोली शायद शक्कर की जगह नमक डल गया है मैंने कहा कोई बात नही नमकीन ही सही और हम दोनों हंस पड़े. मैंने भाभी की चूत को चूसते हुए फ़िर दोनों ऊँगली अन्दर डाल दी भाभी की चूत से ढेर सारा पानी निकलने लगा, उनकी चूत टाईट होती जा रही थी.. मुंह से गों..गों..गों.. की आवाज़ निकलने लगी बदन अकड़ने लगा भाभी ने मेरा सिर जोर से अपनी चूत पर दबा लिया उनकी चूत के होंठ एकदम खुलने और बंद होने लगे ऐसा लगा की भाभी की चूत मेरे होंठों को किस कर रही है, चूत बुरी तरह फड फडाई और भाभी के मुंह से आह्ह..आह्ह.. आ..आ..स्.स्.स्.स्.स्.स्.. की चीखें निकली और चूत ने पिचकारी जैसी पानी उछाल दी जिससे मेरा पूरा चेहरा गिला हो गया.. फ़िर भाभी का पूरा शरीर ढीला पड़ गया.मैं समझ गया की भाभी का काम तमाम हो गया है . मैंने पहले भाभी की चूत को चाट कर साफ कियिया और दुबारा उसमे ऊँगली डाल कर घुमाने लगा तब भाभी बोली मेरी गुझिया का पानी तो पी लिया अब अपने रसगुल्ले का जूस मुझे पिला दो मैं भी तो देखूं ७ साल मे मेरे लिए कितना पानी जमा किया है इसमे.मैंने जैसे ही लंड को सामने किया भाभी बोली संजू तुम्हारा ये इतना मोटा और लंबा है की इसे अन्दर लेने का भी दिल करता है और डर भी लगता है.मैंने लंड भाभी के हाथ मे दिया .जब भाभी ने मेरा लंड देखा तो दंग रह गयी और बोली हाय इतना तो तुम्हारे भैय्या का भी नही है .लगता है आज तो मेरी खैर नही .अब तो इससे ज़ल्दी से अन्दर लेकर देखना ही पड़ेगा की किया होता है तो मैं ने कहा होगा कुछ नही बस आप की चूत को भोस्दा बना देगा पुरी तरह से खोल देगा . तो भाभी बोली चलो डालकर देखते है अब ज़ल्दी से इसे मेरी चूत मे डालो . अब भाभी की चूत और मेरा लंड चुदाई के लिए बेकरार थे मैंने भाभी के दोनों पैर उठा कर अपने कंधे पर रख लिए और लंड को उनकी चूत के गुलाबी छेद पर टिका दिया भाभी अपनी ऑंखें बंद किए हुए लंड के अंदर आने का इंतज़ार कर रही थी मैंने लंड को उनकी गीली चूत पर कुछ देर रगड़ा, भाभी थोडी सिहरने लगी की तभी मैंने एक जोरदार धक्का मारा और मेरा लंड भाभी की चूत को चीरता हुआ अध अंदर घुस गया भाभी की ऑंखें एकदम खुल गयी और मुह से एक जोरदार चीख निकली आह्ह..मर गयीई ई ई ई आ आ उ ऊफ्फ्फ्फ़ उफ़ स्..स्.स्.स्.स्. तभी मैंने दूसरा धक्का मारा और भाभी का बदन एक दम से अकड़ गया क्यों की लंड चूत की गहरी तक घुस गया था और उनकी बच्चेदानी से जा कर टकराया था .भाभी ज़ोर से चीख ने वाली थी की मैंने उनके होंठ अपने होंठो से बंद कर दिए भाभी अपने हाथों से मुझे पीछे धकेलने लगी.. ये कोशिश नाकाम थी, मैं उन्हें किस करता रहा.. थोडी देर बाद उन्होंने कहा तुमने कंडोम क्यों नही लगाया.. अगर कुछ गड़बड़ हो गया तो मैंने कहा कंडोम तो तुम्हारे पास दिया था , भाभी ने कहा वो तो नीचे ही है ..अब रहने दो लेकिन मेरी चूत मे अपना पानी मत डालना.. मैंने कहा ठीक है. मैंने अपना लंड बाहर निकाल लिया था फ़िर से चूत पर रखा तो भाभी ने कहा ज़रा धीरे से करो दर्द होता है.. तुम्हारा लंड बहुत मोटा और लंबा है.. इतने अन्दर आज तक कुछ भी नही गया था.. मैंने कहा ठीक है और धीरे धीरे लंड अन्दर डालने लगा लंड चूत पर कसता चला गया भाभी फ़िर तड़पने लगी. इस बार मैं पूरा लंड अन्दर घुसा कर ही रुका. भाभी की चूत फुदक रही थी चूत के नादर बहुत गरम एहसास हो रहा था...भाभी बोली प्यारे देवर राजा अब अपनी भाभी की चूत को अपने इस लंबे मोटे हथियार से धीरे धीरे चोदो . मैंने भाभी की चूत पर धक्के लगना शुरू कर दिया और भाभी हर धक्के पर स्..स्.स्..स्.स्.स्.स्..स्..आह..आह..ओह्ह..करने लगी . धीरे धीरे भाभी की चूत की गर्मी बढ़ ने लगी लंड भी और जोश पकड़ने लगा .भाभी बोली राजा थोडी स्पीड तो बढाओ मुझे अब बहुत ज़ोर से चुदास लग रही है . अब देर मत करो कुचल डालो मेरी चूत को फाड़ डालो हाय उफ़ हाय..चोदो..ओ.ओ.ओ.ओ.ओ.आह..उफ़.. और फ़िर मैंने चूत पर पूरा जोर दिखाना शुर कर दीया अब तक चूत मे काफी पानी आ चुका था जैसे जैसे मेरी स्पीड बढ़ रहि९ थी भाभी भी अपनी गंद दुगुने स्पीड से ऊपर उछाल रही थी.भाभी का शरीर अकड़ता जा रहा था..चूत भी लंड को कास कर पकड़ रही थी. फ़िर अचानक भाभी आह्ह..आह..उफ़.. स्.स्.स्.स्.स्.स् करते हुए झड़ गई उनकी चूत मेरे लंड पर ऐसे लप लापा रही थी मनो लंड को उछल उछल कर किस कर रही हो. भाभी एक दम शांत पड़ चुकी थी लेकिन मेरे धक्कों की स्पीड और बढ़ गयी थी भाभी दुबारा फ़िर जोश मे आने लगी थी लेकिन इस बार भाभी सिस्करिओं के साथ उन की चूत से फच फच फच हफ्फ़ हफ्फ़ फच्च फच्चाक जैसी आवाज़ आने लगी थी. जैसे ही लंड चूत के अन्दर जाता फच्चाक फच्च की आवाज़ आती और बाहर निकलते ही हफ्फ्च की आवाज़ आ रही थी .मैं भाभी को करीब ३० -३५ मिनिट ऐसे ही चोदता रहा फ़िर मुझे लगा की मैं झड़ने वाला हूँ, मैं लंड को बाहर निकलना चाहता था लेकिन भाभी भी झड़ने वाली थी उसने मना कर दिया मैंने पुरी ताकत के साथ धक्के लगाते हुए मेरे लंड की पिचकारी भाभी की चूत मे ही छोड़ दी.. पुरी चूत भर गई और उसी के साथ भाई भी झड़ गई और मुझे कास के पकड़ लिया मेरी पीठ पर भाभी ने अपने नाखून गडा दिए .भाभी मेरे लंड की दीवानी हो गई. 3 महीने बाद मुझे दूसरी जगह नौकरी मिलने से मैं मेरे परिवार के साथ वहाँ से चला गया लेकिन मैं भाभी को चोदने वहाँ जाता था..बाद मे भाभी ने बताया की मेरी चुदाई से भाभी गर्भवती हो गयी है मैं आज भी भाबी की जम कर चुदाई करता हूँ अब मैंने परिवार नियोजन का ऑपरेशन करवा लिया है इसलिए बिना डर के भाभी को पुरी नंगी कर के चोदता हूँ मेरी भाभी मुझसे चुदवाने के लिए बेकरार रहती है क्योंकि मैं चुदाई ही ऐसी जबरदस्त करता हूँ की उन्हें दो दिन तक चूत को गरम पानी से सेंकना पड़ता है


















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